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Anokhi padyatra: मप्र के बैतूल में सागौन के विशाल वृक्षों के साथ निकली अनूठी पदयात्रा, पूजे जाएंगे श्री कृष्ण और अवधूत के रूप में

Anokhi padyatra: मप्र के बैतूल में सागौन के विशाल वृक्षों के साथ निकली अनूठी पदयात्रा, पूजे जाएंगे श्री कृष्ण और अवधूत के रूप में
▪️मनोहर अग्रवाल, खेड़ी सांवलीगढ़

Anokhi padyatra: मध्यप्रदेश के ग्रामीण क्षेत्रों में प्रकृति के विभिन्न रूपों को देव स्वरूप पूजने की परंपरा वर्षों से विद्यमान है। विशेष रुप से ग्रामीण क्षेत्र के लोग आज भी पेड़ पौधों मे देवताओं का वास मानकर पूरी श्रद्धा भक्ति और विश्वास के साथ उनकी पूजा करते हैं। ऐसी ही एक परंपरा को निभाते हुए बैतूल जिले में शुक्रवार सुबह प्रभातपट्टन ब्लॉक के देवभिलाई के लिए विशाल सागौन के पेड़ों के साथ पदयात्रा निकाली गई।

कौतूहल का विषय बनी इस यात्रा में ग्रामीण एक बड़े ट्राले पर दो विशालकाय सागवान के वृक्षों को लेकर उसके पीछे भजन कीर्तन करते हुए पैदल यात्रा पर खेड़ी बेरियर चौक से निकले। इन पेड़ों को भगवान श्री कृष्ण उनके सखा अवधूत के रूप में देव भिलाई के एक मंदिर में विधि विधान से प्रतिष्ठित किया जाएगा।

Anokhi padyatra: मप्र के बैतूल में सागौन के विशाल वृक्षों के साथ निकली अनूठी पदयात्रा, पूजे जाएंगे श्री कृष्ण और अवधूत के रूप में

यात्रा के साथ चल रहे ग्रामीणों ने बताया कि बैतूल जिले के प्रभात पट्टन ब्लॉक के देवभिलाई में भगवान श्री कृष्ण एवं उनके सखा अवधूत का एक प्राचीन मंदिर है। इस मंदिर परिसर में इन दोनों के प्रतीकात्मक रूप मे दो विशाल सागवान के खंब खड़े हुए हैं। ग्रामीण इन्हें भगवान श्री कृष्ण और अवधूत के रूप में वर्षों से पूजते आ रहे हैं। ग्रामीणों के मुताबिक इन खंब के पुराने होने के कारण उन्होंने नए खंब की खोज शुरू की थी। (Anokhi padyatra)

चिचोली ब्लॉक में मिले श्री कृष्ण और अवधूत के प्रतीकात्मक वृक्ष यह वृक्ष जिले के चिचोली ब्लॉक में मिले हैं। यह अत्यंत प्राचीन हो गए हैं। इन दो नए खंब को सभी ग्रामीण एक विशेष तिथि को मंदिर परिसर में विधि विधान से स्थापित करेंगे। इस तरह की प्रथम बार निकली यात्रा का खेड़ी स्थित बैतूल-इंदौर नेशनल हाइवे बेरियर चौक पर स्वागत किया गया। स्वागत करने वालों में ब्रम्हदेव राने, कुलदीप कुंभारे, गोलू गीद, उमेश गलफट, मनोहरी राठौर, अशोक ठाकुर, सुखदेव यादव, गुलाब यादव शामिल हैं। इस अनूठी यात्रा को देखकर ग्रामीण आश्चर्य में हैं।

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