Subcidy Par Krishi Yantra: नरवाई के समुचित प्रबंधन के लिए मध्यप्रदेश शासन द्वारा कृषकों को डीबीटी पोर्टल के माध्यम से हैप्पी सीडर के लिए आवेदन आमंत्रित किए गए हैं। सहायक कृषि यंत्री ने बताया कि जिले के किसान वर्तमान में ऑन डिमाण्ड के माध्यम से mpdage.org पोर्टल पर आवेदन कर सकते हैं। इच्छुक कृषक 4500 रुपए का डिमाण्ड ड्राफ्ट के रूप में सहायक कृषि यंत्री बैतूल के नाम से बनाकर पोर्टल पर आवेदन कर सकते हैं। जिसमें हैप्पी सीडर पर अनुदान की अधिकतम राशि 76 हजार 500 रुपए है।
कृषक हैप्पी सीडर का उपयोग करके धान, मूंग, गेहूँ, सोयाबीन की कटाई के उपरांत सीधी बोनी कर सकते है, जिसमें एक ही यंत्र से खड़ी नरवाई के खेत में जुताई करते है, (फर्टिसीड ड्रिल) खाद के साथ बीज की बुवाई करने का काम करता है। जो भी कृषक हैप्पी सीडर क्रय करते हैं वे किसान कल्याण तथा कृषि विभाग द्वारा 1650 की राशि प्रति एकड़ प्रदर्शन की राशि का लाभ भी ले सकते है।
रबी एवं खरीफ फसलों की कर सकते बुआई
उन्होंने बताया कि किसान हैप्पी सीडर कृषि यंत्र की मदद से रबी एवं खरीफ फसलों की बुआई कर सकते हैं, जिससे बुआई लागत में कमी आएगी और नरवाई या पराली जलाने की जरूरत नहीं होगी। अधिक से अधिक किसान इस उन्नत तकनीक का लाभ उठा सकें, इसके लिए सरकार हैप्पी सीडर कृषि यंत्र पर अनुदान प्रदान कर रही है।
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नरवाई जलाने से मिट्टी की उर्वरा शक्ति होती है कम
सहायक कृषि यंत्री ने बताया कि खेतों में नरवाई जलाने से मिट्टी की उर्वरा शक्ति कम होने के साथ ही वायु प्रदूषण भी होता है। नरवाई जलाने से भूमि में मौजूद केचुएं एवं लाभदायक सूक्ष्म जीव जलकर नष्ट हो जाते है। जैविक खाद निर्माण बंद हो जाता है और मिट्टी की उत्पादन क्षमता भी गिर जाती है, जिससे फसल उत्पादन प्रभावित होता है। उन्होंने जिले के किसानों से नरवाई प्रबंधन के लिए हैप्पी सीडर तकनीक को अपनाएं जाने की अपील की है।