Hing Ki Kheti: किसानों को मालामाल कर देगी हींग की खेती, सोच से ज्यादा होगी कमाई

Hing Ki Kheti: किसानों को मालामाल कर देगी हींग की खेती, सोच से ज्यादा होगी कमाई
Source – Social Media

Hing Ki Kheti: भारतीय रसोई हींग के बिना अधूरी मानी जाती है क्योंकि खाने को स्वादिष्ट बनाने के लिए हींग का इस्तेमाल किया जाता है। ऐसे में पूरे भारत में बड़े पैमाने पर हींग का इस्तेमाल होता है। इन दिनों हींग की बड़ी तेजी से चर्चा हो रही है और वो इसलिए कि हिमाचल प्रदेश में पहली बार हींग की खेती शुरू होने वाली है। कौंसिल फॉर साइंटिफिक एंड इंडस्ट्रीयल रिसर्च यानी कि सीएसआईआर का कहना है कि ऐसा पहली बार हो रहा है जब भारत में हींग की खेती हो रही है।

Hing Ki Kheti: यहां होती सबसे ज्यादा हींग की खेती

हींग की खेती इन क्षेत्रों में सबसे ज्यादा की जाती है आपकी जानकारी के लिए हींग की खेती भूमध्यसागर क्षेत्र से लेकर मध्य एशिया तक के क्षेत्रों में होती हैं। हींग एक सौंफ़ की प्रजाति का एक ईरान मूल का पौधा है। भारत में यह कश्मीर और पंजाब के कुछ हिस्सों में हींग की भारी मात्रा में खेती की जाती है। भारत के मार्केट में असली हींग की कीमत 35000 रुपए प्रति किलोग्राम है। इसकी लम्बाई 1 से 1.5 मीटर तक होती है। इसकी खेती जिन देशों में प्रमुख तौर पर होती हैं वो है अफगानिस्तान, ईरान, तुर्कमेनिस्तान और ब्लूचिस्तान है। हींग की खेती के लिए 20 से 30 डिग्री सेल्सियस का तापमान उपयुक्त होता है। जिससे हींग के पौधे की लम्बाई अच्छे से बढ़ते रहती है।

हींग के पौधे के लिए वातावरण

हींग के पौधे को छायादार जगह पर रखें तेज धूप में रखने के बजाय सुबह वाली सनलाइट में इसे बाहर रख दें। 2 घंटे बाद इसे अंदर ले आएं और किसी छायादार जगह पर रख दें। ध्यान रखें कि यह पौधा ठंडी जगह पर लगाया जाता है, ऐसे में अगर आप इसे तेज धूप में रखेंगी तो यह नष्ट हो सकता है।

हींग के खेती से कमाई(Hing Ki Kheti)

हींग की खेती के लिए प्रति हेक्‍टेयर 3 लाख रुपये की लागत आएगी। इस लागत के पांचवे साल में खेती करने पर ज्‍यादा से ज्‍यादा 10 लाख रुपये तक का फायदा मिलेगा । बाजार में एक किलो हींग का भाव करीब 35000 से 40000 रुपये प्रति किलो है।

उत्तम मालवीय

मैं इस न्यूज वेबसाइट का ऑनर और एडिटर हूं। वर्ष 2001 से पत्रकारिता में सक्रिय हूं। सागर यूनिवर्सिटी से एमजेसी (मास्टर ऑफ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री प्राप्त की है। नवभारत भोपाल से अपने करियर की शुरुआत करने के बाद दैनिक जागरण भोपाल, राज एक्सप्रेस भोपाल, नईदुनिया और जागरण समूह के समाचार पत्र 'नवदुनिया' भोपाल में वर्षों तक सेवाएं दी। अब इस न्यूज वेबसाइट "Betul Update" का संचालन कर रहा हूं। मुझे उत्कृष्ट पत्रकारिता के लिए प्रतिष्ठित सरोजिनी नायडू पुरस्कार प्राप्त करने का सौभाग्य भी नवदुनिया समाचार पत्र में कार्यरत रहते हुए प्राप्त हो चुका है।

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